Raja Raghuvanshi murder case इंदौर के कारोबारी राजा रघुवंशी के हत्याकांड में बड़ा ट्विस्ट आ गया है।
दरअसल दो आरोपियों ने कोर्ट में कबूलनामे से किया इनकार कर दिया है।
26 जून को शिलांग कोर्ट में दो आरोपियों आकाश राजपूत और आनंद कुर्मी ने अपने पुलिस कबूलनामे से मुकर गए।
मजिस्ट्रेट के सामने उन्होंने चुप्पी साध ली।
हालांकि, पुलिस का दावा है कि उनके पास DNA सबूत, कॉल रिकॉर्ड, CCTV फुटेज और हत्यारों के बीच हुई बातचीत के सबूत हैं, जो आरोपियों के खिलाफ मजबूत केस बनाते हैं।

तीन नए आरोपी गिरफ्तार, सबूत मिटाने का आरोप
इस मामले में पुलिस ने इंदौर से तीन और लोगों – लोकेंद्र सिंह तोमर, शिलोम जेम्स और बल्लू अहिरवार को गिरफ्तार किया है।
इन पर हत्या के सबूत मिटाने का आरोप है।
इन्होंने सोनम का मोबाइल और ज्वेलरी वाला बैग जलाया था। पुलिस को अभी भी राजा का मोबाइल और जेवरात नहीं मिले हैं।

पुलिस का दावा: “हमारे पास हैं ठोस सबूत”
एसआईटी चीफ हार्बर्ट पिनियाड खारकोंगोर ने कहा कि कोर्ट में कबूलनामा न मानने से केस कमजोर नहीं होता, क्योंकि फोरेंसिक रिपोर्ट और टेक्निकल सबूत मामले को पुख्ता बनाते हैं।
पुलिस जल्द ही चार्जशीट पेश करेगी।

नार्को टेस्ट की मांग खारिज
राजा के परिवार ने सोनम और राज पर नार्को टेस्ट कराने की मांग की थी, लेकिन मेघालय पुलिस ने इसे खारिज कर दिया।
पुलिस अधीक्षक विवेक सियेम ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के नियमों के अनुसार, जब पर्याप्त सबूत हों तो नार्को टेस्ट की जरूरत नहीं होती।
केस की टाइमलाइन
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20 मई: राजा और सोनम शिलांग पहुंचे।
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23 मई: दोनों लापता हुए।
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2 जून: राजा का शव खाई में मिला।
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जून के पहले हफ्ते: सोनम, राज कुशवाहा और तीन हत्यारे गिरफ्तार।
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26 जून: दो आरोपियों ने कोर्ट में कबूलनामे से इनकार किया।

क्या आगे होगा?
पुलिस FSL रिपोर्ट और डिजिटल सबूतों के आधारित चार्जशीट तैयार कर रही है।
अगर सभी सबूत मजबूत रहे, तो आरोपियों को सजा मिलने के आसार हैं।