EC challenges Rahul Gandhi: कांग्रेस नेता राहुल गांधी के वोट चोरी के आरोपों पर चुनाव आयोग (EC) ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है।
आयोग ने कहा कि अगर राहुल अपने दावों को सही मानते हैं, तो हलफनामा देकर सबूत पेश करें, नहीं तो देश से माफी मांगें।
यह बयान ANI के सूत्रों के हवाले से सामने आया है।
चुनाव आयोग के अनुसार, अगर राहुल गांधी को अपने आरोपों पर भरोसा है, तो उन्हें हलफनामे पर हस्ताक्षर करने में कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए।
इससे पहले, राहुल ने गुरुवार को दिल्ली में एक प्रेजेंटेशन के जरिए आरोप लगाया था कि वोटर लिस्ट में गड़बड़ी करके भाजपा को फायदा पहुंचाया गया।
क्या है पूरा मामला?
- राहुल गांधी ने 7 अगस्त को दिल्ली में एक प्रेजेंटेशन देकर आरोप लगाया कि कर्नाटक, महाराष्ट्र और यूपी में वोटर लिस्ट में गड़बड़ी करके BJP को फायदा पहुंचाया गया।
- उन्होंने दावा किया कि महादेवपुरा सीट पर 1.25 लाख फर्जी वोट डाले गए, जिससे BJP जीती।
- चुनाव आयोग ने इन आरोपों को गंभीरता से लेते हुए हलफनामा मांगा, ताकि आगे की कार्रवाई हो सके।
- वहीं भाजपा ने इन आरोपों को “बेबुनियाद” बताया है।
चुनाव आयोग मुझसे हलफनामा मांगता है। वो कहता है कि मुझे शपथ लेनी होगी। मैंने संसद में संविधान की शपथ ली है।
आज जब देश की जनता हमारे डेटा को लेकर सवाल पूछ रही है तो चुनाव आयोग ने वेबसाइट ही बंद कर दी।
चुनाव आयोग जानता है कि जनता उनसे सवाल पूछने लगी तो उनका पूरा ढांचा ढह जाएगा।… pic.twitter.com/AjBKv6M69H
— Congress (@INCIndia) August 8, 2025
राहुल गांधी ने ट्वीट कर कहा, “वोट चोरी सिर्फ एक चुनावी घोटाला नहीं, बल्कि संविधान और लोकतंत्र के साथ विश्वासघात है। देश के गुनहगार सुन लें, वक्त बदलेगा और सजा जरूर मिलेगी।”
Vote Chori सिर्फ़ एक चुनावी घोटाला नहीं, ये संविधान और लोकतंत्र के साथ किया गया बड़ा धोखा है।
देश के गुनहगार सुन लें – वक़्त बदलेगा, सज़ा ज़रूर मिलेगी। pic.twitter.com/tR7wh589fN
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) August 8, 2025
EC जांच क्यों नहीं करता?– प्रियंका गांधी का तीखा सवाल
चुनाव आयोग की इस मांग पर कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने तीखी प्रतिक्रिया दी।
उन्होंने कहा, “राहुल गांधी ने वोट चोरी का बड़ा खुलासा किया है, इसकी जांच होनी चाहिए। लेकिन चुनाव आयोग जांच करने के बजाय हलफनामा मांग रहा है।”
राहुल गांधी जी ने इतना बड़ा खुलासा किया है, उसकी जांच होनी चाहिए। चुनाव आयोग वोटर लिस्ट नहीं दे रहा है, जांच नहीं कर रहा है, उल्टा हलफनामा मांग रहा है। हम लगातार डेटा दिखा रहे हैं, लेकिन आयोग अपना ही डेटा मानने को तैयार क्यों नहीं हो रहा है?
बीजेपी और चुनाव आयोग की तरफ से जिस… pic.twitter.com/wIdov88i8g
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) August 8, 2025
प्रियंका ने आगे कहा, “हम लगातार डेटा दिखा रहे हैं, लेकिन चुनाव आयोग मानने को तैयार ही नहीं है।
अगर भाजपा सरकार विपक्ष पर ED और CBI के जरिए जांच करवा सकती है, तो यहां वोट चोरी के मामले की जांच क्यों नहीं हो रही?”
राहुल गांधी ने क्या आरोप लगाए?
7 अगस्त को राहुल गांधी ने दिल्ली में एक प्रेजेंटेशन के दौरान आरोप लगाया कि “चुनाव आयोग ने भाजपा के साथ मिलकर चुनाव चुराया है।”
उन्होंने कर्नाटक की वोटर लिस्ट का उदाहरण देते हुए कहा कि इसमें “संदिग्ध मतदाताओं” को शामिल किया गया।
BJP और चुनाव आयोग मिलकर संविधान पर हमला कर रहे हैं। अगर उन्हें लग रहा है कि वे संविधान पर आक्रमण करके बच जाएंगे, तो वे गलत हैं।
मेरी बात याद रहे 👇
समय लगेगा लेकिन हम आप सभी को पकड़ेंगे, एक-एक कर पकड़ेंगे।
: नेता विपक्ष श्री @RahulGandhi
📍 कर्नाटक pic.twitter.com/DeW8zORfzI
— Congress (@INCIndia) August 8, 2025
राहुल ने दावा किया कि “महाराष्ट्र के चुनाव परिणामों से पता चलता है कि वोट चोरी हुई है।
चुनाव आयोग ने मशीन-रीडेबल वोटर लिस्ट नहीं दी, जिससे पता चलता है कि उन्होंने भाजपा के साथ मिलकर धांधली की।”
“मोदी 25 सीटों से वोट चुराकर PM बने”
8 अगस्त को बेंगलुरु में ‘वोट अधिकार रैली’ को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा, “नरेंद्र मोदी 25 सीटों पर 35,000 या उससे कम वोटों के अंतर से जीते हैं।
अगर हमें इलेक्ट्रॉनिक डेटा मिल जाए, तो हम साबित कर देंगे कि मोदी चोरी करके प्रधानमंत्री बने हैं।”
नरेंद्र मोदी वोट चोरी करके प्रधानमंत्री बने हैं,
चुनाव आयोग हमें डेटा दे, हम साबित कर देंगे !– राहुल गांधी 🔥 pic.twitter.com/icFJ4MlG6h
— Akshay Yadav (@Akshay_Yadav22) August 8, 2025
उन्होंने मांग की कि “चुनाव आयोग को पिछले 10 साल की सभी इलेक्ट्रॉनिक वोटर लिस्ट और वीडियोग्राफ़ी सार्वजनिक करनी चाहिए। अगर ये डेटा नहीं दिया जाता, तो यह अपराध है।”
हमारी मांग है 👇
⦁ चुनाव आयोग हमें पूरे देश की इलेक्ट्रॉनिक वोटर लिस्ट दे
⦁ चुनाव से जुड़े वीडियोग्राफी के रिकॉर्ड देअगर हमें ये मिल जाए तो हम साबित कर देंगे कि पूरे देश में सीटें चोरी की गई है।
: नेता विपक्ष श्री @RahulGandhi
📍 कर्नाटक pic.twitter.com/5wP2HUzs8y
— Congress (@INCIndia) August 8, 2025
कर्नाटक में 1.25 लाख वोट चोरी का दावा
राहुल गांधी ने कर्नाटक के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र का उदाहरण देते हुए कहा कि वहां 6.50 लाख वोटों में से 1.25 लाख वोट चोरी किए गए। उन्होंने वोट चोरी के पांच तरीके बताए:
- डुप्लीकेट वोटर: एक व्यक्ति ने कई बूथों पर वोट डाला।
- फर्जी पते: कुछ वोटरों के पते ही गलत थे, एक घर में 40-50 वोटर दिखाए गए।
- फॉर्म-6 का दुरुपयोग: नए वोटरों के लिए बने फॉर्म-6 का इस्तेमाल कर 34,000 फर्जी वोटर बनाए गए।
- एक ही वोटर ने अलग-अलग राज्यों में वोट डाला: कुछ वोटरों ने कर्नाटक, महाराष्ट्र और यूपी में वोट डाला।
- बीजेपी नेताओं के घरों पर फर्जी वोटर: जांच में पता चला कि कुछ घरों के मालिक बीजेपी नेता थे।
हमने कर्नाटक की एक विधानसभा महादेवापुरा क्षेत्र की जांच की और पाया कि यहां 1,00,250 वोटों की चोरी की गई। पांच तरीकों से ये फर्जी वोट लिस्ट में जोड़े गए।
▪️11,965 डुप्लीकेट वोटर बनाए गए
▪️40,009 फर्जी पतों का इस्तेमाल हुआ
▪️10,452 वोटर बड़ी संख्या में एक ही पते पर रजिस्टर किए… pic.twitter.com/GZPA04cDd9— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) August 7, 2025
क्या है वोट चोरी का मॉडल?
राहुल ने अपने प्रेजेंटेशन में 5 तरीके बताए, जिनसे वोट चोरी हुई:
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डुप्लीकेट वोटर: एक ही व्यक्ति ने अलग-अलग बूथ पर वोट डाले।
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फर्जी एड्रेस: एक घर में 40-50 वोटर्स दर्ज थे, जबकि वहां कोई नहीं रहता।
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फॉर्म-6 का गलत इस्तेमाल: 80 साल के बुजुर्गों को ‘नया वोटर’ बना दिया गया।
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क्रॉस-स्टेट वोटिंग: कर्नाटक का वोटर महाराष्ट्र और यूपी में भी वोट डालता दिखाया गया।
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BJP नेताओं के घर फर्जी वोटर्स: महादेवपुरा में एक BJP नेता के घर से सैकड़ों फर्जी वोटर्स मिले।

क्या होगा आगे?
- अगर राहुल गांधी हलफनामा देते हैं, तो EC को कानूनी कार्रवाई करनी होगी।
- अगर माफी मांगते हैं, तो BJP इसे राजनीतिक हार के तौर पर पेश करेगी।
- प्रियंका गांधी ने इसे लोकतंत्र vs धांधली की लड़ाई बताया है।
राहुल गांधी को चुनाव आयोग ने झूठ बोलने से पहले कानून याद दिला दिया!
“Atom Bomb” वाला आरोप अब गले की हड्डी बन गया चुका है ।
जब साइन करने को कहा तो राहुल जी कहते हैं कि मैं तो नेता हूं, साइन नहीं करूंगा 😂
क्योंकि राहुल जी अच्छे से जानते है कि झूठा सबूत देना BNS की धारा 227 के… pic.twitter.com/xksFYaNisw
— Minakshi Shriyan (@Minakshishriyan) August 8, 2025
यह मामला अब कानूनी और राजनीतिक जंग बन गया है।
EC का अगला कदम ही तय करेगा कि “वोट चोरी” के आरोपों की सच्चाई सामने आती है या नहीं।
क्या चुनाव आयोग पारदर्शिता दिखाते हुए वोटर डेटा जारी करेगा? या फिर यह मामला राजनीतिक बहस तक ही सीमित रहेगा?
आने वाले दिनों में इस मुद्दे पर और तीखी बहस होने की उम्मीद है।
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