MP Police Love Jihad Plan: मध्य प्रदेश पुलिस ने लव जिहाद और छात्राओं की सुरक्षा को लेकर गंभीर कदम उठाए हैं।
प्रदेश के पुलिस महानिदेशक (DGP) कैलाश मकवाना ने लव जिहाद और छात्राओं के साथ होने वाली संदिग्ध गतिविधियों को रोकने के लिए कड़े निर्देश जारी किए हैं।
उन्होंने स्कूलों और कॉलेजों में नोडल अधिकारियों की तैनाती का आदेश दिया है, जो पुलिस और शिक्षण संस्थानों के बीच समन्वय बनाएंगे।
इसके अलावा, सोशल मीडिया पर निगरानी बढ़ाने और थानों में पुलिसकर्मियों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए गए हैं।
कॉलेजों में नोडल अधिकारी तैनात किए जाएंगे
DGP मकवाना ने बैठक में कहा कि प्रत्येक कॉलेज में एक नोडल पुलिस अधिकारी नियुक्त किया जाएगा, जो संस्थान और पुलिस के बीच संपर्क स्थापित करेगा।
यह अधिकारी कॉलेज परिसर में होने वाली किसी भी संदिग्ध गतिविधि, विशेषकर छात्राओं के साथ धोखाधड़ी या जबरन धर्म परिवर्तन की घटनाओं की रिपोर्ट तुरंत पुलिस को देगा।

हाल ही की घटनाओं से लिया सबक
हाल ही में कई मामले सामने आए हैं, जहां युवतियों को झूठे पहचान के साथ प्रेम के बहाने फंसाया गया।
इन घटनाओं को रोकने के लिए पुलिस ने यह कदम उठाया है।
साथ ही, गुमशुदा नाबालिग लड़कियों की तलाश के लिए विशेष अभियान चलाने का भी निर्णय लिया गया है।
सोशल मीडिया पर सख्त निगरानी
DGP ने पुलिस को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर सक्रिय निगरानी रखने के निर्देश दिए हैं।
उन्होंने कहा कि लव जिहाद या सांप्रदायिक तनाव फैलाने वाली पोस्ट्स और अफवाहों पर तुरंत कार्रवाई की जाए।
इसके लिए साइबर सेल को और सक्रिय करने के आदेश दिए गए हैं।

थानों में पुलिसकर्मियों की अनिवार्य उपस्थिति
बैठक में DGP ने थाना प्रभारियों और पुलिसकर्मियों की अनुपस्थिति पर गंभीर चिंता जताई।
उन्होंने कहा कि कई बार पुलिसकर्मी ड्यूटी के बाद थाने से गायब हो जाते हैं, जिससे जनता को परेशानी होती है।
अब सुबह-शाम थाना प्रभारियों की उपस्थिति दर्ज की जाएगी, ताकि पुलिस की दृश्यता (visibility) बढ़े और आम नागरिकों को सुरक्षा का अहसास हो।
पुलिसकर्मियों की पोस्टिंग पर नई गाइडलाइन
DGP ने यह भी निर्देश दिया कि जो पुलिसकर्मी विभागीय जांच में शामिल हैं, उन्हें सीधे थानों में नियुक्त न किया जाए।
इससे कानून-व्यवस्था पर असर नहीं पड़ेगा और सभी पुलिसकर्मी अपने कर्तव्यों का पालन कर पाएंगे।

भोपाल और आसपास के जिलों की समीक्षा
यह बैठक भोपाल, विदिशा, सीहोर, राजगढ़ और भोपाल देहात के पुलिस अधिकारियों के साथ हुई।
इसमें अपराध की स्थिति पर चर्चा की गई और DGP ने अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।