HomeTrending Newsइजराइल के मोसाद हेडक्वार्टर पर मिसाइल से हमला: ईरानी सेना के डिप्टी...

इजराइल के मोसाद हेडक्वार्टर पर मिसाइल से हमला: ईरानी सेना के डिप्टी कमांडर की मौत

और पढ़ें

Nisha Rai
Nisha Rai
निशा राय, पिछले 13 सालों से मीडिया के क्षेत्र में सक्रिय हैं। इन्होंने दैनिक भास्कर डिजिटल (M.P.), लाइव हिंदुस्तान डिजिटल (दिल्ली), गृहशोभा-सरिता-मनोहर कहानियां डिजिटल (दिल्ली), बंसल न्यूज (M.P.) जैसे संस्थानों में काम किया है। माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता विश्वविद्यालय (भोपाल) से पढ़ाई कर चुकीं निशा की एंटरटेनमेंट और लाइफस्टाइल बीट पर अच्छी पकड़ है। इन्होंने सोशल मीडिया (ट्विटर, फेसबुक, इंस्टाग्राम) पर भी काफी काम किया है। इनके पास ब्रांड प्रमोशन और टीम मैनेजमेंट का काफी अच्छा अनुभव है।

Mossad Headquarters Attack: इजराइल और ईरान के बीच जारी युद्ध के पांचवें दिन भी तनाव बना हुआ है।

ईरान ने मंगलवार को इजराइल की खुफिया एजेंसी मोसाद के हेडक्वार्टर और सैन्य खुफिया इमारत (AMAN) पर हवाई हमला किया।

ईरानी मीडिया ने दावा किया है कि हर्जलिया स्थित मोसाद मुख्यालय को निशाना बनाया गया और इमारत को काफी नुकसान पहुंचा।

इस हमले के बाद सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो रहा है, जिसमें धुएं के गुबार दिखाई दे रहे हैं।

ईरानी सेना के जनरल अली शादमानी को मार गिराया

इस बीच, इजराइल ने भी ईरानी सेना के डिप्टी कमांडर मेजर जनरल अली शादमानी को मार गिराया।

शादमानी को महज चार दिन पहले ही खतम-अल-अनबिया सैन्य कमान का प्रमुख नियुक्त किया गया था।

वह 13 जून को इजराइली हमले में मारे गए मेजर जनरल गुलाम अली राशिद की जगह लिए थे।

अब तक इस युद्ध में 224 ईरानी सैनिक मारे गए हैं, जबकि 1,481 घायल हुए हैं।

इजराइल की तरफ से 24 लोगों की मौत और 600 से अधिक घायल होने की खबर है।

मोसाद: दुनिया की सबसे ताकतवर खुफिया एजेंसी

मोसाद इजराइल की प्रमुख खुफिया एजेंसी है, जिसे 13 दिसंबर 1949 में तत्कालीन प्रधानमंत्री डेविड बेन-गुरियन ने स्थापित किया था।

यह एजेंसी जासूसी, गुप्त ऑपरेशन और आतंकवाद रोधी गतिविधियों के लिए जानी जाती है।

Israel Iran War, Mossad Headquarters Attack, Iran Israel Conflict, Indian Students Evacuated from Iran, Major General Ali Shadmani Killed, indian students,
Mossad Headquarters Attack

 मोसाद को दुनिया की सबसे खतरनाक खुफिया एजेंसियों में गिना जाता है, जो कई बड़े ऑपरेशन अंजाम दे चुकी है।

भारतीय छात्रों को सुरक्षित निकाला गया

इजराइल-ईरान युद्ध के बीच भारत ने अपने नागरिकों को सुरक्षित निकालने की कार्रवाई शुरू कर दी है।

भारतीय दूतावास ने तेहरान में रह रहे 100 से अधिक भारतीय छात्रों को आर्मेनिया के रास्ते निकाल लिया है।

इनमें ज्यादातर मेडिकल के छात्र शामिल हैं, जो ईरान के विभिन्न विश्वविद्यालयों में पढ़ रहे थे।

भारत सरकार की एडवाइजरी

  • तेहरान और तेल अवीव में फंसे भारतीयों को सुरक्षित स्थानों पर जाने को कहा गया है।

  • इजराइल में मौजूद भारतीयों को बंकरों में रहने की सलाह दी गई है।

  • भारतीय दूतावास लगातार 24×7 हेल्पलाइन चला रहा है।

ईरान में लगभग 10,000 भारतीय छात्र पढ़ते हैं, जिनमें 1,500 कश्मीरी छात्र भी शामिल हैं।

भारत सरकार उन्हें जॉर्जिया या पश्चिम एशिया के रास्ते वापस लाने की योजना बना रही है।

इजराइल-ईरान युद्ध का वैश्विक प्रभाव

इस युद्ध से न केवल मध्य पूर्व बल्कि पूरी दुनिया की अर्थव्यवस्था प्रभावित हो सकती है।

अगर संघर्ष बढ़ता है, तो तेल की कीमतों में उछाल आ सकता है, जिससे पेट्रोल-डीजल महंगा हो सकता है।

इसका सीधा असर आम लोगों के जीवन पर पड़ेगा।

क्या होगा आगे?

  • अंतरराष्ट्रीय समुदाय दोनों देशों से युद्धविराम की अपील कर रहा है।

  • अमेरिका और यूरोपीय देश संयम बरतने की सलाह दे रहे हैं।

  • भारत ने शांति और कूटनीतिक समाधान पर जोर दिया है।

- Advertisement -spot_img